DCE कोर्स के लिए कोई छात्र 10वीं पास के बाद जॉइन कर सकता है या कुछ छात्र 12वीं के बाद भी कोर्स में शामिल हो सकते हैं।
इस कोर्स के लिए हर राज्य में कई सरकारी और निजी कॉलेज उपलब्ध हैं जहां छात्र अपनी सुविधा के अनुसार प्रवेश ले सकते हैं।
DCE में प्रवेश पाने के लिए 2 विकल्प हैं। कई कॉलेजों में इस कोर्स में प्रवेश प्रक्रिया मेरिट के आधार पर होती है, जबकि कई कॉलेजों में प्रवेश के लिए प्रवेश परीक्षा देनी होती है, आइए जानते हैं इनके बारे में।
कई कॉलेजों में छात्रों को उनके द्वारा प्राप्त अंकों के आधार पर प्रवेश दिया जाता है। इसके लिए कई कॉलेजों और विश्वविद्यालयों से संबंधित जानकारी उनकी वेबसाइट या समाचार पत्रों के माध्यम से दी जाती है।
जो छात्र प्रवेश परीक्षा के तहत कॉलेजों और विश्वविद्यालयों में प्रवेश लेना चाहते हैं, उन्हें कुछ पंजीकरण शुल्क देना होगा। इसके साथ ही ऑनलाइन पोर्टल पर जाकर रजिस्ट्रेशन फॉर्म भरना होगा।
सिविल इंजीनियरिंग कोर्स में डिप्लोमा करने वाले छात्रों को सरकारी और निजी क्षेत्र में आसानी से नौकरी मिल रही है।
कई राज्य सरकारों ने अपनी कई नौकरियों में सिविल इंजीनियरिंग में डिप्लोमा करने वाले छात्रों को आरक्षण दिया है।